जन्माष्टमी पर बेकाबू हुई कृष्ण भक्तों की भीड़, भगदड़ के बाद लाठीचार्ज, धक्का-मुक्की से महिलाएं-बच्चे गिरे
 

 

जन्माष्टमी के मौके पर पटना के इस्कॉन मंदिर के बाहर सोमवार की शाम करीब साढ़े सात बजे अचानक भीड़ बढ़ने और गेट खुलने से धक्का-मुक्की बढ़ गई। उस वक्त गेट पर एक डीएसपी और दो-तीन सब इंस्पेक्टर मौजूद थे। भीड़ डीएसपी और अन्य पुलिसकर्मियों के साथ धक्का-मुक्की करते हुए आगे बढ़ गई। इसी दौरान कुछ महिलाएं और बच्चे नीचे गिर गए। इसके बाद पुलिस को भीड़ नियंत्रित करने के लिए लाठीचार्ज करना पड़ा। इससे वहां भगदड़ मच गई।

लोग इधर-उधर भागने लगे। घटना में कुछ महिला और पुरुष मामूली रूप से चोटिल हुए हैं। मंदिर के पास श्रद्धालुओं ने भीड़ अधिक हो गई थी। गेट खुलते ही भीड़ किसी तरह अंदर घुसना चाह रही थी। उसी दौरान धक्का-मुक्की और भगदड़ हुई।

मौके की स्थिति देखकर साफ लगता है कि प्रशासन भीड़ का आकलन नहीं कर पाए और इसी कारण यह घटना हुई। एक अधिकारी ने नाम नहीं छापने की शर्त पर बताया कि भीड़ अधिक बढ़ने पर वहां मौजूद एक अधिकारी ने गेट बंद करवा दिया। अचानक गेट खुलने से भीड़ बेकाबू हो गई। इसी के बाद स्थिति बिगड़ी। पूरे मामले में जिला प्रशासन और पुलिस के बीच सामंजस्य का अभाव दिखा।

इस्कॉन मंदिर के अध्यक्ष कृष्ण कृपा दास ने कहा कि 'लाठीचार्ज नहीं हुआ है। कुछ लोग लाइन तोड़कर जबरदस्ती घुस गए थे। इससे दूसरे लोगों को परेशानी हो रही थी। पुलिस ने उन्हें रोकने के लिए हल्का बल का प्रयोग किया है। अगर पुलिस ऐसा नहीं करती तो दूसरे लोगों को परेशानी होती। अभी मंदिर के अंदर और बाहर एक लाख श्रद्धालु मौजूद हैं।

भगदड़ के दौरान पटना के इस्कॉन मंदिर पहुंचे श्रद्धालुओं से बाइक, चेन और मोबाइल की छिनतई के 12 से अधिक मामले सामने आए हैं। घटना को लेकर कोतवाली थाने में पीड़ित श्रद्धालुओं ने शिकायत भी दर्ज कराई हैं।