उषा मार्टिन माइंस घोटाला: पूर्व आईएएस अरुण कुमार सिंह को कोर्ट ने जारी किया समन

 

सीबीआई की विशेष अदालत ने उषा मार्टिन माइंस आवंटन घोटाले से जुड़े मामले में पूर्व विकास आयुक्त और रिटायर्ड आईएएस अधिकारी अरुण कुमार सिंह को समन जारी किया है सीबीआई ने इस घोटाले में अरुण कुमार सिंह के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की थी, जिसके आधार पर कोर्ट ने कार्रवाई करते हुये यह आदेश दिया है। 

क्या है मामला?
यह मामला वर्ष 2005 का है, जब पश्चिम सिंहभूम जिले के घाटकुरी में स्थित आयरन ओर माइंस को उषा मार्टिन कंपनी को आवंटित किया गया था। आरोप है कि इस आवंटन में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार और नियमों की अनदेखी की गई। उस समय अरुण कुमार सिंह माइंस विभाग के सचिव थे।

सीबीआई के अनुसार, राज्य सरकार के अधिकारियों ने केंद्र को जो सिफारिश भेजी, उसमें उषा मार्टिन कंपनी के पक्ष में पक्षपात किया गया। कंपनी ने दावा किया था कि वह हाट गम्हरिया स्थित अपने स्टील प्लांट के लिए इन खदानों का उपयोग करेगी, लेकिन 2012 में उसने इन्हें बेचने का विज्ञापन जारी कर दिया। इस प्रक्रिया में करोड़ों रुपये का घोटाला हुआ।

सीबीआई की कार्रवाई
घोटाले की शिकायत पर 2016 में सीबीआई ने दिल्ली इकाई के माध्यम से एफआईआर दर्ज की थी। इसमें अरुण कुमार सिंह, तत्कालीन खनन निदेशक इंद्रदेव पासवान और उषा मार्टिन कंपनी के तीन वरिष्ठ अधिकारियों को आरोपी बनाया गया। एफआईआर में धोखाधड़ी, आपराधिक साजिश और भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धाराएं लगाई गईं।

सीबीआई ने अभियोजन की अनुमति के लिए डिपार्टमेंट ऑफ पर्सनल एंड ट्रेनिंग (डीओपीटी) और झारखंड सरकार को पत्र लिखा था। हालांकि, राज्य सरकार ने एक साल तक कोई जवाब नहीं दिया। इसके बाद कोर्ट ने स्वत: संज्ञान लेते हुए अब समन जारी किया है।