मुसलमान-यादव के बाद कुशवाहा से भी देवेश चंद्र ठाकुर नाराज, बोले- काम कराने के लिए लालू के सात कुशवाहा के पास जाइए

 


यादव-मुसलमानों का पर्सनल काम नहीं करने का बयान देने वाले नीतीश कुमार की पार्टी जेडीयू के सांसद देवेश चंद्र ठाकुर ने कुशवाहा वोटर्स को भी खरी-खोटी सुनाई है। एक जनसभा को संबोधित करते हुए सांसद देवेश ठाकुर ने कहा कि कुशवाहा वोटर इसलिए कटा क्योंकि लालू यादव ने कुशवाहा समाज के 7-7 लोगों को टिकट दे दिया। इससे कुशवाहा समाज खुश हो गया। लेकिन अगर मैं कह दूं कि अपना काम कराने के लिए लालू के सात कुशवाहा के पास जाइए तो कैसा लगेगा।

जदयू सांसद देवेश चंद्र ठाकुर ने कहा कि आरजेडी अध्यक्ष ने कुशवाहों को सात टिकट दे दिया। तो इतने खुश हो गए, और इतने स्वार्थी हो जाएंगे आप। आपकी पार्टी के उपमुख्यमंत्री हैं, जो भारतीय जनता पार्टी के हैं। उपेंद्र कुशवाहा जीतते तो केंद्रीय मंत्री बनते। दो स्थापित नेता होते। मैं कहता हूं कि अगर आपके तीन-चार सांसद बन जाते तो आपको सीतामढ़ी में क्या फर्क पड़ता। आप उससे जाते काम करवाने, सोच देखिए कितनी विकृति है। देवेश ठाकुर ने कहा कि मैं दुख से नहीं कह रहा सिर्फ चर्चा कर रहा है। कि हमारे बिहार की क्या परिस्थिति है। अगर मैं कह दूं कि अपना काम कराने के लिए लालू के सात कुशवाहा के पास जाइए तो कैसा लगेगा।

दरअसल इस बार काराकाट से एनडीए प्रत्याशी उपेंद्र कुशवाहा को हार का सामना करना पड़ा था। और महागठबंधन के माले प्रत्याशी राजाराम को जीत हासिल हुई थी। वहीं भोजपुरी स्टार पवन सिंह दूसरे नंबर पर रहे थे। और एनडीए कैंडिडेट उपेंद्र कुशवाही तीसरे नंबर पर थे। उपेंद्र को अपनी हबी बिरादरी कुशवाहा का वोट नहीं मिला था। इसी बात को लेकर देवेश ठाकुर कुशवाहा वोटर्स पर भड़के हुए दिखे। 

 

हालांकि इससे पहले वो यादव और मुसलमान वोटर्स को भी खरी-खरी सुना चुके हैं। यादव और मुस्लिम बिरादरी का भी वोट नहीं मिलने को लेकर देवेश ठाकुर ने कहा कि वो उनका कोई भी पर्सनल काम नहीं करेंगे। उनके पास आएंगे तो स्वागत होगा। चाय-मिठाई दी जाएगी। लेकिन उनका निजी काम नहीं करूंगा। 

आपको बता दें सीतामढ़ी लोकसभा सीट से एनडीए के जेडीयू प्रत्याशी देवेश चंद्र ठाकुर ने 50 हजार से ज्यादा वोटों से जीत दर्ज की थी। उन्हें 515719 जबकि आरजेडी के अर्जुन राय को 464363 वोट मिले थे।। देवेश ठाकुर को जीत तो मिली लेकिन बहुत बड़े अंतर से नहीं, और वोट भी कम मिले। जिससे चलते वो खफा दिख रहे हैं।