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गोपाल खेमका हत्याकांड पर सख्त हुए सीएम नीतीश, लापरवाह अफसरों पर कार्रवाई की चेतावनी, डीजीपी से मांगी रिपोर्ट

पटना में कारोबारी गोपाल खेमका की हत्या के बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शनिवार को 1 अणे मार्ग स्थित 'संकल्प' में आपात बैठक बुलाई। बैठक में डीजीपी समेत प्रदेश के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों को तलब कर सीएम ने साफ निर्देश दिया कि अपराध नियंत्रण में कोई लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। दोषियों की जल्द पहचान और सख्त कार्रवाई सुनिश्चित करने को कहा गया है।
 

Patna: राजधानी पटना में चर्चित व्यवसायी गोपाल खेमका की हत्या के बाद राज्य की राजनीति और प्रशासन में हलचल मच गई है। मामले की गंभीरता को देखते हुए बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शनिवार को आपात उच्चस्तरीय बैठक बुलाई। यह बैठक 1 अणे मार्ग स्थित 'संकल्प' में हुई जिसमें राज्य के डीजीपी आर. एस. भट्टी, होम सेक्रेटरी, आईजी (मुख्यालय) और अन्य वरिष्ठ पुलिस अधिकारी मौजूद थे।

क्या बोले मुख्यमंत्री नीतीश कुमार?

बैठक के दौरान सीएम नीतीश कुमार ने अधिकारियों से कहा, राज्य में अपराध नियंत्रण को लेकर किसी प्रकार की कोताही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। यदि कोई अधिकारी या पुलिसकर्मी अपनी जिम्मेदारी में लापरवाही बरतता है तो उस पर सीधी और कड़ी कार्रवाई होगी।

इसके अलावा उन्होंने कहा, यह घटना राजधानी के सुरक्षित समझे जाने वाले क्षेत्र में हुई है, यह दर्शाता है कि कहीं न कहीं सुरक्षा व्यवस्था में बड़ी चूक हुई है। ऐसे में संबंधित अधिकारियों की जवाबदेही तय की जाएगी।

गोपाल खेमका हत्याकांड पर क्या निर्देश मिले?

मुख्यमंत्री ने डीजीपी को सीधे निर्देश दिया कि गोपाल खेमका की हत्या की गहराई से जांच की जाए, और:

  • हत्या के पीछे की साजिश का खुलासा किया जाए।
  • मामले में किसी भी स्तर पर प्रभाव या भेदभाव नहीं बरता जाए।
  • दोषियों की पहचान कर उन्हें जल्द गिरफ्तार किया जाए।
  • CCTV फुटेज और तकनीकी साक्ष्यों के आधार पर पुख्ता चार्जशीट तैयार की जाए।

सीएम ने कहा कि ऐसे मामलों में अगर पुलिस सक्रियता नहीं दिखाती है, तो जनता का भरोसा टूटता है। जिसके बाद उनपर और कानून का सवाल उठाए जाते हैं। 


डीजीपी ने क्या कहा?

बैठक में डीजीपी आर. एस. भट्टी ने अपराध नियंत्रण के लिए पुलिस द्वारा किए जा रहे प्रयासों की जानकारी दी। उन्होंने आश्वासन दिया कि गोपाल खेमका मर्डर केस को टॉप प्रायोरिटी पर लेकर कार्रवाई की जा रही है।
सूत्रों के मुताबिक, पटना पुलिस की विशेष टीमों को अपराधियों की गिरफ्तारी के लिए लगाया गया है, और सीमावर्ती जिलों को भी अलर्ट किया गया है ताकि हमलावर राज्य से बाहर न भाग सकें।

विपक्ष का हमला

इस हत्याकांड के बाद विपक्षी दलों ने सरकार को घेरा है। आरजेडी, कांग्रेस और बीजेपी नेताओं ने पटना की कानून-व्यवस्था को लेकर मुख्यमंत्री से इस्तीफे तक की मांग कर दी है। बिहार चैंबर ऑफ कॉमर्स ने भी व्यवसायियों की सुरक्षा पर सवाल उठाते हुए एक दिन के प्रतीकात्मक बंद की घोषणा की है।

पकौन थे गोपाल खेमका?

गोपाल खेमका पटना के नामचीन व्यवसायी थे। उनका रियल एस्टेट, ट्रांसपोर्ट और एफएमसीजी सेक्टर में मजबूत पकड़ थी। वे सामाजिक कार्यों में भी सक्रिय थे और कई बार बांकीपुर क्लब के पदाधिकारी रह चुके थे। उनकी हत्या को लेकर कारोबारी प्रतिस्पर्धा, जमीन विवाद और पुरानी रंजिश जैसे एंगल की भी जांच की जा रही है। 

आपको बता दें कि गोपाल खेमका हत्याकांड को लेकर तेजस्वी यादव से लेकर अन्य कई राजनेताओं ने अपनी प्रतिक्रिया दी है, जिसमें सरकार और कानून व्यवस्था को लेकर कड़ी टिप्पणी दी है। गोलाप खेमका के बेटे को भी गुंजन खेमका की हत्या 7 साल पहले वैशाली के उद्योगिक थाना इलाके में कर दी थी। जिसको लेकर काफी बवाल मचा था, वहीं अब बेटे के बाद पिता की भी हत्या कर दी गई।