“जो कहा, वो किया”- रेखा गुप्ता सरकार ने पूरा किया भाजपा का बड़ा संकल्प, यमुना तट सहित 1500 घाटों पर छठ पूजा की तैयारी तेज़
Bihar chunav 2025: दिल्ली में इस बार छठ महापर्व का आयोजन पहले से कहीं ज़्यादा भव्य होने जा रहा है। दिल्ली भाजपा अध्यक्ष वीरेन्द्र सचदेवा ने रविवार को ऐलान किया कि “जो कहा था, वो किया गया है”- मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता की अगुवाई में भाजपा सरकार ने अपना एक और चुनावी वादा पूरा कर दिखाया है। इस साल यमुना तट सहित राजधानी के लगभग 1500 घाटों पर छठ पूजा का आयोजन होगा। इनमें से 23 प्राकृतिक घाट यमुना किनारे बनाए जा रहे हैं, जबकि करीब 1300 कृत्रिम घाटों की तैयारी ज़ोरों पर है। जनता की मांग पर 200 नए घाटों को भी चिह्नित किया गया है।
यमुना की सफाई और छठ आयोजन पर भाजपा का दावा
वीरेन्द्र सचदेवा ने कहा कि यह वही संकल्प है जिसकी नींव भाजपा ने बीते वर्ष रखी थी। उन्होंने कहा, “पिछले साल हमने छठ से पहले यमुना की गंदगी और केजरीवाल सरकार की निष्क्रियता उजागर की थी। छठ मैया की कृपा से आज दिल्ली में हमारी सरकार है और यमुना फिर से श्रद्धालुओं के लिए तैयार हो रही है।”
उन्होंने आरोप लगाया कि पूर्ववर्ती आम आदमी पार्टी सरकार ने वर्षों तक यमुना तट पर पूजा पर रोक लगाकर करोड़ों पूर्वांचलवासियों की भावनाओं को ठेस पहुंचाई थी। भाजपा कार्यकर्ताओं के लंबे संघर्ष और जनदबाव के बाद अब जाकर वह मांग पूरी हुई है।
भव्य तैयारी, सफाई अभियान और जनसहभागिता
दिल्ली भाजपा अध्यक्ष ने बताया कि इस बार छठ पूजा की तैयारियां केवल सरकार या नगर निगम तक सीमित नहीं रहेंगी।
भाजपा के पूर्वांचल मोर्चा अध्यक्ष संतोष ओझा के नेतृत्व में पार्टी कार्यकर्ता स्वयं महा सफाई अभियान चलाएंगे, ताकि हर घाट पर स्वच्छता और व्यवस्था बनी रहे।
भाजपा के सांसद, विधायक, पार्षद और वरिष्ठ पदाधिकारी लगातार घाटों का दौरा कर रहे हैं। दिल्ली नगर निगम के महापौर सरदार राजा इकबाल सिंह भी इस सफाई अभियान की निगरानी कर रहे हैं।
“छठ केवल पर्व नहीं, आस्था का उत्सव”
सचदेवा ने कहा कि दिल्ली में भाजपा सरकार छठ को “पूर्वांचल की पहचान और दिल्ली की साझा संस्कृति” के रूप में मना रही है। उन्होंने कहा, हम छठ पूजा की तैयारी और सफाई को केवल सरकारी ज़िम्मेदारी नहीं मानते, बल्कि इसे जनआस्था का उत्सव मानकर हर नागरिक को जोड़ने की कोशिश कर रहे हैं। छठ पर्व 6 से 9 नवंबर के बीच मनाया जाएगा। इस बार राजधानी में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ की उम्मीद है, और भाजपा सरकार का दावा है कि “इस बार दिल्ली में आस्था और स्वच्छता दोनों की मिसाल देखने को मिलेगी।”







