JDU प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाह का फरमान बेअसर, पोस्टर पर दिखे कई नेताओं की तस्वीर

 

JDU में एक ही नेता की ब्रांडिंग होगी, कोई दूसरा नेता JDU की ब्रांडिंग नही करेगा। इसको लेकर JDU के तरफ से अधिकारिक ऐलान भी कर दिया गया. JDU के तरफ से साफ कहा गया है कि पार्टी के किसी पोस्टर बैनर पर सिर्फ एक फोटो होगा वो भी सिर्फ मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का. नीतीश कुमार के अलावा यदि दूसरे नेता पोस्टर-बैनर पर नजर आए तो पोस्टर बनाने वाले नेता पर पार्टी कार्रवाई करेगी. ऐसा नहीं करने पर इसे पार्टी अनुशासन के खिलाफ माना जाएगा और वैसे लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने का निर्णय लिया गया है.

JDU के प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाहा के द्वारा ये फरमान जारी किया गया, इस फरमान का एक सप्ताह भी नहीं हुआ कि JDU  के युवा प्रदेश अध्यक्ष दिव्याशु भरद्वाज ने ही इस फरमान को खारिज कर दिया. जी हां परशुराम जयंती के अवसर पर शुभकामनायें वाले पोस्टर पर परशुराम के साथ बड़े आकर में अपनी तस्वीर लगवायी साथ ही पोस्टर के एक कोने में नीतीश कुमार, ललन सिंह सहित पार्टी के दो अन्य वरिष्ठ नेताओं की भी छोटी छोटी तस्वीरों को जगह दी है. यहीं नहीं  दिव्याशु भरद्वाज ने ईद की मुबारकबाद देते हुए भी पोस्टर लगवाए इसमें भी यही हाल देखा गया. 

अब सवाल ये उठता है कि ये निर्देश आखिर कारगर क्यों नहीं साबित हो पाया ? जिसमें JDU के प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाहा के द्वारा पोस्टर बैनर या किसी भी प्रचार सामग्री में नीतीश के अलावा किसी दुसरे नेता का फोटो नहीं लगाने का निर्देश दिया गया. जदयू के प्रदेश अध्यक्ष उमेश सिंह कुशवाहा ने एक बयान जारी करते हुए कहा था कि पार्टी के लिए अनुशासन सर्वोपरि है और अनुशासन तोड़ने वालों को किसी भी सूरत में बख्शा नहीं जाएगा बल्कि उन्हें चिन्हित कर कार्रवाई की जाएगी तो क्या JDU के युवा प्रदेश अध्यक्ष दिव्याशु भरद्वाज के खिलाफ पार्टी ने कोई एक्शन लिया ? या फिर उनपर कोई कार्यवाई करने का इरादा है ?

ये सवाल तब और भी अहम हो जाता है जब हम यहां JDU की इकलौती महिला प्रवक्ता सुहेली मेहता का नाम लें जिन्हें दो महीने पहले ही पद से हटा दिया गया.  यह कार्रवाई JDU के प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाहा ने ही की थी. कुशवाहा ने एक पत्र जारी करते हुए सुहेली मेहता को उनके पद से हटाने की सूचना दी. JDU प्रदेश अध्यक्ष ने जो दो लाइन का पत्र जारी किया है, इसमें सुहेली मेहता के बारे में ये जानकारी दी गई कि उन्हें प्रवक्ता पद से हटाया जाता है. 

जदयू प्रवक्ता पद से हटाए जाने को लेकर प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाहा से जब पूछा गया तो उन्होंने कहा कि समय-समय पर प्रवक्ता हो या पार्टी के पदाधिकारी उनके काम का आकलन किया जाता है, जो आकलन में सही पाए जाते हैं उन्हें पार्टी पद पर बनाए रखा जाता है, और जो आकलन में खरे नहीं उतरते है उन्हें पद से हटा दिया जाता है. सुहेली मेहता भी आकलन पर खरी नहीं उतरीं. साथ ही कुछ ऐसी जानकारी भी मिल रही थी जो अनुशासनहीनता में आता है. इस वजह से भी उन्हें पद से मुक्त कर दिया गया. 

लेकिन खबरों की माने तो सुहेली महेता ने मुख्यमंत्री नीतीश के जन्मदिन पर उनके फोटो को केक खिलाया था जिसे अनुसाशनहीनता करार दिया गया और उनपर कार्यवाई की गयी. इस सिलसिले में जब हमने सुहेली मेहता से बात की तो उन्होंने कहा कि इस तरह बेवजह वाले फरमान जारी कर कार्यकर्ताओं में संसय पैदा करने की कोशिश न की जाए. सुहेली मेहता ने कहा कि जब NDA गठबंधन नीतीश कुमार को नेता मानते हैं और मुख्यमंत्री अपने कार्यकर्ताओं के लिए भी सर्वमान्य हैं. साथ ही उन्होंने JDU को चैलेंज देते हुए कहा कि पार्टी दिव्याशु भरद्वाज पर कार्यवाई करे. वैसे अब ये देखना होगा कि JDU के युवा प्रदेश अध्यक्ष दिव्याशु भरद्वाज पर पार्टी क्या कार्यवाई करती है.

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