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तीसरे दिन मेदिनीनगर से शुरू हुई मंईयां सम्मान यात्रा, कई लाभुकों को किया गया सम्मानित

मंईयाँ सम्मान यात्रा के तीसरे दिन की शुरुआत मेदिनीनगर स्थित शिवाजी मैदान से हुई। मंत्री बेबी देवी ने कहा कि झारखंड मुख्यमंत्री मंईयाँ सम्मान योजना से महिलाएं आत्मनिर्भर बन रही हैं। महिला,बाल विकास एवं सामाजिक सुरक्षा विभाग के माध्यम से उन्हें जो सम्मान राशि ( वर्ष में 12000 रुपये) दी जा रही है, यह सोच मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन की है। उनकी सोच है कि महिलाओं को सम्मान मिले, अधिकार मिले और उनका हक़ मिले और हम इससे पीछे नहीं हटेंगे। 
महिलाओं को सम्मान, अधिकार और उनका हक़ दिलाने की दिशा में हम एक कदम आगे बढ़ चुके हैं
मंत्री दीपिका पांडे सिंह ने कहा कि झारखंड मुख्यमंत्री मंईयाँ सम्मान योजना महिलाओं का सम्मान, अधिकार और उनका हक़ है। उनका हक़ दिलाने की दिशा में हम कदम आगे बढ़ा चुके हैं । उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने किसानों के क़र्ज़ माफ़ी की सीमा को 50 हज़ार रुपए से बढ़ा कर दो लाख रुपये तक कर राज्य के किसानों को राहत देने का काम किया है । साथ ही पशुपालक किसानों के पशुओं के इलाज के लिए एम्बुलेंस की सेवा शुरू की है, जिससे वे 1962 नंबर पर कॉल कर अब घर पर ही अपने पशुओं का इलाज करा पाएंगे। एम्बुलेंस के साथ डॉक्टर, दवाएँ और अन्य सुविधाएँ मिलेंगी। दुग्ध पशुपालकों के लिए सरकार ने प्रोत्साहन राशि को बढ़ाने का काम किया है । उन्होंने कहा कि जल्द ही पलामू प्रमण्डल में कृषि मेला लगने जा रहा है उन्होंने महिलाओं से कहा कि हमे आगे बढ़ने के लिए आपके साथ की ज़रूरत है । आप हमारी ताक़त हैं। 
सपने देखने का काम आपका है और उन सपनों को पूरा करेंगे मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन
विधायक कल्पना सोरेन ने मंईयाँ सम्मान यात्रा में हज़ारों की संख्या में आयीं महिलाओं को संबोधित करते हुए कहा कि झारखंड की बेटियों, माताओं, बहनों को सम्मान देने का काम मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने किया है। उन्होंने झारखंड मुख्यमंत्री मंईयाँ सम्मान योजना की सोच को धरातल पर उतारा। आप सभी महिलाएँ आज जितिया के त्योहार के मौक़े पर व्रत कर भी आयीं है, आपका हृदय से आभार। आप हमलोगों की ऊर्जा को बढ़ाती हैं। उन्होंने कहा कि सरकार महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने के लिए तत्पर है, क्योंकि यदि महिलाएँ सशक्त होंगी, तो परिवार सशक्त होगा। समाज, राज्य और देश सशक्त होगा। उन्होंने कहा कि सपने देखने का काम आपका है और उन सपनों को पूरा करने का काम करेंगे मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन। क्योंकि, अब राज्य के किसी भी घर में बेटियाँ जन्म लेंगी, तो घर पर लक्ष्मी का स्वरूप होंगी । वे जन्म से जिस आयु तक और जब तक रहेंगी राज्य सरकार की किसी ना किसी योजना से जुड़ी रहेंगी और ये सारी योजनाएँ लेकर आएँ है मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन। उन्होंने कहा कि झारखंड मुख्यमंत्री मंईयाँ सम्मान योजना में अब 18 से 50 वर्ष की माताएँ, बहनों को सम्मान की राशि मिलेगी और ये वर्ष में 12000 रुपये की सिर्फ़ राशि नहीं, बल्कि महिलाओं का आत्मसम्मान है। सरकार बच्चियों के लिए सावित्री बाई फुले किशोरी समृद्धि योजना लाई, ताकि उनकी पढ़ाई ना रुके । उनके सपनों के उड़ान को पंख देने का काम किया गया। 
मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन झारखंड की महिलाओं को सम्मान देने का काम कर रहे हैं और इस काम में वे अकेले नहीं हैं । आप सभी का साथ हमलोगों की ऊर्जा को बढ़ाता है । मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन की सोच थी कि मंईयाँ सम्मान यात्रा के माध्यम से महिलाओं का आभार प्रकट किया जाये।  
यात्रा के दौरान आयोजित कार्यक्रम को मनिका विधायक रामचंद्र सिंह,जिप उपाध्यक्ष आलोक कुमार सिंह एवं पूर्व मंत्री केएन त्रिपाठी ने भी संबोधित किया। सभी ने सरकार द्वारा चलायी जा रही झारखंड मुख्यमंत्री मंईयाँ सम्मान योजना समेत विभिन्न महत्वपूर्ण व जनकल्याणकारी योजनाओं के बारे में जानकारी दी। 
कार्यक्रम में पलामू उप विकास आयुक्त शब्बीर अहमद सहित विभिन्न विभागों के पदाधिकारीगण एवं हज़ारों की संख्या में महिलाएँ उपस्थित थीं।