तेलंगाना : विजयनगरम में बड़ा आतंकी मंसूबा नाकाम, पुलिस इंस्पेक्टर का ही बेटा निकला आतंकी साजिश का मास्टरमाइंड

तेलंगाना और आंध्र प्रदेश की पुलिस ने मिलकर एक संभावित बड़े आतंकी हमले को टाल दिया है। इस कार्रवाई के तहत विजयनगरम से सिराज उर रहमान (29) और सिकंदराबाद के बोइगुडा इलाके से सैयद समीर (28) को हिरासत में लिया गया है। बताया जा रहा है कि ये दोनों युवक सऊदी अरब में बैठे एक मास्टरमाइंड के इशारे पर विस्फोट की साजिश रच रहे थे।
एनआईए ने जांच को दी रफ्तार
राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच तेज कर दी है। दोनों आरोपियों पर गैरकानूनी गतिविधि रोकथाम अधिनियम (यूएपीए), विस्फोटक अधिनियम और बॉम्बे पुलिस अधिनियम के तहत केस दर्ज किए गए हैं। अदालत के आदेश पर दोनों को विशाखापत्तनम की सेंट्रल जेल भेजा गया है। पुलिस ने अब आगे की पूछताछ के लिए आरोपियों की रिमांड मांगी है।

कट्टर सोच का नेटवर्क
सूत्रों के अनुसार, सिराज उर रहमान ने सोशल मीडिया के ज़रिए कर्नाटक, महाराष्ट्र और अन्य राज्यों के कुछ युवकों से संपर्क साधा। उन्होंने हैदराबाद, मुंबई और दिल्ली जैसे बड़े शहरों का दौरा कर कुछ अन्य लोगों को इस विचारधारा से जोड़ा। ‘सिग्नल’ नामक एन्क्रिप्टेड मैसेजिंग ऐप पर एक निजी ग्रुप बनाकर एक साल से अधिक समय तक गुप्त चर्चा की जाती रही, जिसमें बम विस्फोट की योजना बनाई जा रही थी।
पुलिस की नौकरी की तैयारी में था सिराज
गौर करने वाली बात यह है कि सिराज के पिता खुद पुलिस विभाग में सहायक उप-निरीक्षक (ASI) हैं। सिराज ने भी 2018 से 2022 तक पुलिस में भर्ती की कोशिश की लेकिन बार-बार असफल रहा। इंजीनियरिंग की पढ़ाई कर चुके सिराज की सोच धीरे-धीरे कट्टरपंथ की ओर मुड़ गई। समीर के साथ मिलकर वह वारंगल निवासी फरहान मोइनुद्दीन और उत्तर प्रदेश के बदर के संपर्क में आया, जहां खिलाफत और जिहाद जैसे विषयों पर संवाद हुआ।
मुंबई-बिहार से जुड़े थे तार
जांच में सामने आया है कि सिराज ने नवंबर 2024 में मुंबई का दौरा किया, जहां उसने करीब 10 लोगों से मुलाकात की। इसके बाद वह मंडोली गया और सलमान खान नामक युवक से मिला। लौटकर हैदराबाद पहुंचा और लगातार अबू मुसाब नामक व्यक्ति से संपर्क में रहा, जो बिहार का रहने वाला है। सिग्नल चैट से खुलासा हुआ है कि इन लोगों ने सस्ते रासायनिक पदार्थों से भीड़भाड़ वाले इलाकों में बम विस्फोट की योजना बनाई थी।