16 दिनों से फरार डॉ. अजय गिरफ्तार, हॉस्टल के कमरे में लगी थी आग, जले हुए एडमिट कार्ड मिले थे

बिहार के सबसे बड़े मेडिकल कॉलेज अस्पताल- पीएमसीएच के चाणक्य हॉस्टल में एक कमरे से जले हुए नोट और नीट के एडमिट कार्ड मिलने के मामले में बड़ा अपडेट हुआ है. पुलिस ने इस मामले में 16 दिनों फरार चल रहे पीएमसीएच के डॉक्टर अजय को गिरफ्तार कर लिया है. पीएमसीएच के TOP प्रभारी ने डॉक्टर अजय को गिरफ्तार किया है. जानकारी के मुताबिक, काउंसलिंग के लिए पीएमसीएच के हथवा वार्ड पहुंचा था, इसी दौरान डॉक्टर को पुलिस ने धर दबोचा.
7 जनवरी की देर रात करीब 11:45 बजे PMCH के चाणक्य हॉस्टल के कमरा नंबर LR-42 में आग लगी थी। कमरा डॉ. अजय का था। कमरे से आर्यभट्ट नॉलेज यूनिवर्सिटी के खाली और भरे 35 OMR शीट बरामद हुए। इसपर आंसर बुकलेट नंबर लिखे थे। इस घटना के बाद से ही अजय फरार था। हॉस्टल में 3 कमरों पर उसका कब्जा था।

जानकारी के मुताबिक डॉ. अजय ने पीएमसीएच में सीनियर रेजिडेंट के लिए बुधवार को फॉर्म जमा किया था। इसकी सूचना टीओपी प्रभारी शुभम कुमार को मिल गई थी। आज काउंसिलिंग की लास्ट डेट थी। हर हाल में उसे आना था। वार्ड के चारों ओर सिविल ड्रेस में पुलिस तैनात थी।
टीओपी प्रभारी शुभम कुमार ने बताया की डॉ. अजय कुमार हथुआ वार्ड के सीढ़ियों से नीचे उतर रहे थे। तभी मैंने कहा धप्पा डॉक्टर साहब। मुझे देखते ही उनके चेहरा का रंग उतर गया। पहचान छिपाने के लिए चेहरे पर मास्क लगाया था और मफलर से कवर किया था।
इससे पहले डॉ. अजय को गिरफ्तार करने के लिए पुलिस ने वैशाली और मुजफ्फरपुर में छापेमारी की थी। पटना सिविल कोर्ट में अपने वकील के माध्यम से जमानत के लिए याचिका दायर की थी। पटना एम्स और पीएमसीएच के डॉक्टर से भी पूछताछ की जा रही है।
आठ जनवरी को अजय को पीरबहोर थाना की पुलिस पकड़ कर ले गई थी। लेकिन, पूछताछ के बाद उसे छोड़ दिया गया था। अजय एमबीबीएस और नीट यूजी समेत अन्य मेडिकल कॉलेज में दाखिला कराने के लिए स्कॉलर बैठाता था। स्कॉलर बैठाकर कैंडिडेट्स और उसके परिजनों से मोटी रकम वसूल करता था। इतना ही नहीं एमबीबीएस के इंटरनल एग्जाम में भी मेडिकल स्टूडेंट्स को पास कराता था।