देश के 45% विधायक आपराधिक मामलों में घिरे, टीडीपी के 86% जनप्रतिनिधि दागी, रिपोर्ट में हुआ खुलासा

देश में चुनाव सुधार पर काम करने वाले एक एनजीओ की रिपोर्ट में बड़ा खुलासा हुआ है। रिपोर्ट के मुताबिक, देशभर में 45 फीसदी विधायकों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज हैं। इसमें 28 राज्यों और तीन विधानसभा वाले केंद्र शासित प्रदेशों के कुल 4123 विधायकों में से 4092 के चुनावी हलफनामों का विश्लेषण किया गया। आंकड़ों के अनुसार, आंध्र प्रदेश में 174 में से 138 विधायक (79%) दागी हैं, जो किसी भी राज्य में सबसे अधिक है। वहीं, सिक्किम में 32 में से केवल 1 विधायक (3%) पर मामला दर्ज है, जो न्यूनतम है।
गंभीर अपराधों में भी लिप्त हैं विधायक
रिपोर्ट बताती है कि कुल 1861 विधायकों ने अपने खिलाफ आपराधिक मामलों की घोषणा की है। इनमें से 1205 जनप्रतिनिधियों पर हत्या, हत्या के प्रयास, अपहरण और महिलाओं के खिलाफ अपराध जैसे गंभीर आरोप हैं। 54 विधायकों पर भारतीय दंड संहिता की धारा 302 के तहत हत्या का आरोप है, जबकि 226 विधायकों पर धारा 307 और न्याय संहिता की धारा 109 के तहत हत्या की कोशिश का मामला दर्ज है।

टीडीपी के 86% विधायक दागी
राजनीतिक दलों की बात करें तो तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) के 134 में से 115 विधायक (86%) आपराधिक मामलों में फंसे हैं, जो किसी भी पार्टी में सबसे ज्यादा है। वहीं, 127 विधायकों पर महिलाओं के खिलाफ अपराध दर्ज हैं, जिनमें 13 पर बलात्कार के संगीन आरोप लगे हैं। इनमें से कुछ पर धारा 376 (2)(एन) के तहत भी केस दर्ज हैं, जो एक ही पीड़िता के बार-बार यौन उत्पीड़न से जुड़ा प्रावधान है।
रिपोर्ट में यह भी बताया गया कि 24 विधायकों के हलफनामों का विश्लेषण स्कैनिंग की खराब गुणवत्ता के कारण संभव नहीं हो सका, जबकि 7 विधानसभा सीटें फिलहाल रिक्त हैं। इन आंकड़ों से देश में विधायकों की आपराधिक पृष्ठभूमि को लेकर गंभीर चिंता जाहिर की जा रही है।